छत्तीसगढ़ब्रेकिंग

विडियो:कवर्धा में झंडा विवाद: घायल एसपी बोले क़ानून व्यवस्था बनाये रखने पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा …मौक़े पर आईजी दुर्ग डॉ आनंद छाबड़ा..

कवर्धा

कबीरधाम जिले बोडला ब्लॉक,थाना भोरम देव अंतर्गत गौरी चौरा स्थल पर बूढ़ा देव की पूजा ग्राम के आदिवासी समाज द्वारा की जाती है। गांव में गत वर्ष इसी पूजा स्थल पर गोंडवाना गणतंत्र पार्टी जिला अध्यक्ष जे लिंगो द्वारा अपना एकाधिकार स्थापित करने के उद्देश्य से अपने आराध्य बड़ादेव का झंडा भी लगा दिया गया था, जे लिंगों की इस एकाधिकार वाली मनोवृत्ति का विरोध स्थानीय ग्रामीणों में देखा जा रहा था ,क्योंकि गांव में बूढ़ादेव को मानने वाले लोग अधिक हैं।

इस वर्ष स्थानीय ग्रामीणों ने 14 फरवरी 2023 को हुए एक सामाजिक कार्यक्रम में अपने समाज प्रमुख तिवर्ता कोरबा से आए दुर्गे भगत के नेतृत्व में पूजा अर्चना कर अपना झंडा लगाया ।

इसके बाद गोंडवाना स्टूडेंट यूनियन द्वारा दुर्गे भगत पर कार्यवाही की मांग को लेकर 15.02.23 और 20.02.23 को कलेक्टर कबीरधाम को ज्ञापन दिया गया।23.02.23 को दुर्गे भगत का पुतला दहन भी किया गया।28.02.23 को ज्ञापन देकर 03.03.23 को महा आंदोलन की चेतावनी दी गई ।

इस बीच में पुलिस व प्रशासन के द्वारा मामले का शांतिपूर्वक समाधान निकालने के लिए 2-3 बार बैठक भी आहूत की गयी किंतु गोंडवाना गणतन्त्र पार्टी ज़िला प्रमुख जे लिंगों किसी भी मीटिंग में उपस्थित नहीं हुआ ।

गोंडवाना गणतंत्र पार्टी जिला अध्यक्ष जे. लिंगो के नेतृत्व में भोरमदेव के पास बाजार चौक राजानवागांव में, गोंगपा कार्यकर्ता मुख्य रुप से मलेश्वर मरकाम, सुखदेव धुर्वे आदि कार्यकर्ता लगभग 450 से 500 की संख्या में एकत्र होकर सभा का आयोजन किया गया ,बाद यहां से रैली निकालकर लगभग 5 किलोमीटर दूर ग्राम हरमो को निकले, जिसे पुलिस प्रशासन द्वारा राजानवागांव के बाहर हरमो मार्ग पर बैरिकेड लगाकर रोका गया, किंतु प्रदर्शनकारियों द्वारा पुलिस बल के साथ झूमा झटकी करते हुए बेरिकेड को तोड़ते हुए गांव के लिए रवाना हुए बाद ग्राम हरमो पहुंचकर गोगपा जिलाध्यक्ष जे. लिगो के निवास में सभी प्रदर्शनकारी एकत्रित हुए,यहां से सभी विवादित स्थल के लिए रवाना हुए।

विवादित स्थल के पूर्व पुलिस द्वारा बैरिकेड लगाकर प्रदर्शनकारियों को रोका गया। किंतु प्रदर्शनकारियों द्वारा बेरीकेट को तोड़ते हुए पुलिस के ऊपर पथराव किया गया, जिस पर पुलिस बल द्वारा भीड़ को तितर-बितर करने का प्रयास किया गया किंतु उग्र भीड़ पुलिस पर लाठी बरसाते हुए विवादित स्थल तक पहुंचने का प्रयास करने लगी जिसके पश्चात पुलिस बल द्वारा लाठीचार्ज करने पर भीड़ तितर-बितर हुई।पुलिस बल द्वारा आंसू गैस का भी प्रयोग किया गया।

उक्त घटना में पुलिस अधीक्षक बोले 

डा .लाल उम्मेद ,अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक मनीषा ठाकुर, डीएसपी कौशल किशोर वासनिक निरीक्षक भूषण एक्का , निरीक्षक चूड़ेंद्र सहित बहुत से पुलिसवालो को चोटें आई हैं साथ ही प्रदर्शनकारियों को भी चोटें आई है। कुछ समय बाद पुलिस द्वारा गांव में आए बाहरी प्रदर्शनकारियों को गांव से बाहर रवाना किया गया।प्रमुख बलवाइयों की गिरफ्तारी की जा रही है।

प्रदर्शनकारियों से पूजा स्थल पर पहुंचने के समय वहां बूढ़ादेव को मानने वाले लगभग 80 से 100 महिला पुरुष एकत्र होकर सामाजिक रीति से पूजा पाठ कर रहे थे ।

पुलिस द्वारा यदि प्रदर्शनकारियों को नहीं रोका जाता तो आदिवासी समाज के दो वर्गों के मध्य संघर्ष की स्थिति निर्मित हो सकती थी।वहाँ उपस्थित महिलाओं बच्चों को भी चोट लगता सम्भावित थी इसके अलावा बड़ा देव का झंडा लगाने की कोशिश करने पर पूजा स्थल पर तोड़फोड़ भी हो सकती थी और स्थिति नियंत्रण से बाहर हो सकती थी इसलिए स्थिति को नियंत्रित करने के लिए और क़ानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा ।
मौक़े पर पुलिस महानिरीक्षक दुर्ग डॉ आनंद छाबड़ा भी अतिरिक्त बल के साथ पहुँच गये है स्थिति नियंत्रण में है।

Back to top button