छत्तीसगढ़

जिले में एक सड़क से सुरक्षाबल के जवानों को 40 किलो की आइईडी मिली…

 

बीजापुर

जिले में एक सड़क से सुरक्षाबल के जवानों को 40 किलो की आइईडी (इंप्रोवाइस एक्सप्लोसिव डिवाइस) मिली। यह विस्फोटक सड़क के बीच में लगाया गया था ताकि जवानों या उनके वाहनों को निशाना बनाया जा सके। रविवार की सुबह नक्सलियों की इस साजिश को नाकाम किया गया। इस इलाके में 28 जुलाई से नक्सलियों ने शहीद सप्ताह यानी अपने मारे गए साथियों की याद में हिंसक घटनाएं करने की चेतावनी भी दी थी। पुलिस और सीआरपीएफ के जवान नक्सल मंसूबों पर पानी फेरने तैनात हैं।थाना बासागुड़ा के बासागुड़ा-तर्रेम मार्ग पर नक्सलियों ने यह विस्फोटक 3 दिन पहले लगाया था। इसकी जानकारी फोर्स को मिल गई। बम की तलाश में जिला पुलिस बल, कोबरा 204 (स्पेशल कमांडो टीम) और सीआरपीएफ के जवान रवाना हुए। सारकेगुड़ा से 1 किमी आगे पुल के शुरूआती हिस्से में यह बम लगाया गया था। मौके पर ही बीडीएस (बम डिस्पोजल स्क्वॉड) के द्वारा बरामद आइईडी को नष्ट कर दिया गया।जानकारों के मुताबिक, नक्सलियों द्वारा लगाए जाने वाले इसी तरह के विस्फोटक अगर 30 किलो की क्षमता के हों तो जवानों की एंटी लैंड माइन व्हीकल को उड़ा देते हैं। यह बम 40 किलो का था। पुल के शुरूआती हिस्से में बम लगाकर पुल को भी नुकसान पहुंचाने की योजना बनाई गई थी। जवान इस बम को जब बाहर निकाल रहे थे तो उनकी जान खतरे में थी, कई बार यह जोखिम भी होता है कि नक्सली एक बम के नीचे दूसरा भी प्लांट करते हैं ताकि पहला विस्फोटक निकालने से हादसा हो सके। हालांकि इस घटना में जवानों को नुकसान नहीं पहुंचा

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