इससे पहले आज वाणिज्यिक कर एवं उद्योग मंत्री अमर अग्रवाल ने आबकारी विभाग की समीक्षा बैठक ली। बैठक में अग्रवाल ने शराब दुकानों में कार्यरत सेल्समनों के वेतन भुगतान में लेट लतीफी पर तीखी नाराजगी जतायी। उन्होंने कहा कि हर महीने 7 तारीख तक अनिवार्य रूप से वेतन भुगतान का निर्देश है…कई जगहों पर इस बात की शिकायत आ रही है कि उन्हें वक्त पर वेतन नहीं मिल पा रहा है। जिन प्लेसमेन्ट एजेन्सियों के जरिए इनकी सेवाएं ली जा रही है, उन्हें हर महीने की 7 तारीख तक वेतन भुगतान हो जाने संबंधी प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा। आबकारी भवन में आयोजित राज्य स्तरीय बैठक में आबकारी आयुक्त डी.डी सिंह, ओ.एस.डी. एस.आर.सिंह सहित सभी जिलों से आबकारी अधिकारी उपस्थित थे।
अग्रवाल ने विस्तृत समीक्षा करते हुए सभी शराब दुकानों का अभिलेख संधारित करने और हिसाब-किताब दुरूस्त रखने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि प्रत्येक शराब दुकान में दो-दो पंजी रखी जाए। इनमें हर दिन की बिक्री का उल्लेख किया जाना चाहिए। इसका मिलान और ऑडिट विभाग द्वारा नियुक्त किए गए चार्टर्ड एकाउण्टेण्ट द्वारा किया जाना चाहिए। राजधानी रायपुर के पुरानी बस्ती स्थित एक शराब दुकान में राशि की गड़बड़ी को गंभीरता से लेते हुए इसकी जांच करने के निर्देश पुलिस अधीक्षक को दिए। उल्लेखनीय है कि लगभग साढ़े 4 लाख रुपए की गड़बड़ी का मामला उक्त दुकान में सामने आया है, जिसकी जांच की जा रही है। उन्होंने जांच होते तक इस इलाके के आबकारी इंस्पेक्टर को हटाने के निर्देश दिए। अधिकारियों ने बैठक में बताया कि पिछले तीन महीनों में टोल फ्री नम्बर पर तीन हजार 167 शिकायतें दर्ज की गई। इनमें एक हजार 545 प्रकरण निर्धारित मूल्य से ज्यादा पर शराब बिक्री से संबंधित हैं। जांच किए जाने पर 105 प्रकरणों की पुष्टि की गई, जिस पर नियमानुसार कार्रवाई की गई।
अग्रवाल ने कहा कि शराब दुकान के 50 मीटर के दायरे में चखना दुकान नहीं होनी चाहिए। यदि इस सीमा के भीतर दुकान पाई गई तो संबंधित जिले के आबकारी अधिकारी को जिम्मेदार मानते हुए उनके विरूद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। कांकेर जिले के बांदे और पंखाजूर में शराब दुकान के समीप चखना दुकान संचालित होने की शिकायत सहीं पाए जाने पर आबकारी अधिकारी को अपने काम-काज में सुधार लाने की सख्त हिदायत दी। आबकारी मंत्री ने कहा कि दूसरे राज्यों की शराब अपने राज्य में नहीं आने चाहिए, इसके लिए सीमा पर निगरानी रखी जाए। राजनांदगांव, रायपुर और बिलासपुर मंे बाहरी राज्य के शराब के विरूद्ध 19 प्रकरण बनाए जाने की जानकारी अधिकारियों ने दी। मंत्री श्री अग्रवाल ने कहा कि ऐसे मामलों में यदि वाहन पकड़ाई जाती है, तो नियमानुसार राजसात की कार्रवाई तत्काल की जाए। अधिकारियो ने बैठक में बताया कि दुकानों से शराब की बिक्री पर बिल दिया जा रहा है। फिर भी रायपुर और दुर्ग में बिना बिल की 21 शिकायत मिली है, जिस पर मंत्री ने नाराजगी जाहिर करते हुए इसकी जांच करने के निर्देश दिए।
मंत्री अमर ने रायपुर के आबकारी निरीक्षक को हटाया,राज्य के बाहर की शराब पकड़ाने पर कड़ी कार्रवाई की चेतावनी
RO NO: 12111/53![]() |
RO.NO.12059/59![]() |
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R.O.NO.12078/49![]() |
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R.O.NO.12111/53![]() |
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R.O.NO: D15089/23
R.N.12441/147
इससे पहले आज वाणिज्यिक कर एवं उद्योग मंत्री अमर अग्रवाल ने आबकारी विभाग की समीक्षा बैठक ली। बैठक में अग्रवाल ने शराब दुकानों में कार्यरत सेल्समनों के वेतन भुगतान में लेट लतीफी पर तीखी नाराजगी जतायी। उन्होंने कहा कि हर महीने 7 तारीख तक अनिवार्य रूप से वेतन भुगतान का निर्देश है…कई जगहों पर इस बात की शिकायत आ रही है कि उन्हें वक्त पर वेतन नहीं मिल पा रहा है। जिन प्लेसमेन्ट एजेन्सियों के जरिए इनकी सेवाएं ली जा रही है, उन्हें हर महीने की 7 तारीख तक वेतन भुगतान हो जाने संबंधी प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा। आबकारी भवन में आयोजित राज्य स्तरीय बैठक में आबकारी आयुक्त डी.डी सिंह, ओ.एस.डी. एस.आर.सिंह सहित सभी जिलों से आबकारी अधिकारी उपस्थित थे।
अग्रवाल ने विस्तृत समीक्षा करते हुए सभी शराब दुकानों का अभिलेख संधारित करने और हिसाब-किताब दुरूस्त रखने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि प्रत्येक शराब दुकान में दो-दो पंजी रखी जाए। इनमें हर दिन की बिक्री का उल्लेख किया जाना चाहिए। इसका मिलान और ऑडिट विभाग द्वारा नियुक्त किए गए चार्टर्ड एकाउण्टेण्ट द्वारा किया जाना चाहिए। राजधानी रायपुर के पुरानी बस्ती स्थित एक शराब दुकान में राशि की गड़बड़ी को गंभीरता से लेते हुए इसकी जांच करने के निर्देश पुलिस अधीक्षक को दिए। उल्लेखनीय है कि लगभग साढ़े 4 लाख रुपए की गड़बड़ी का मामला उक्त दुकान में सामने आया है, जिसकी जांच की जा रही है। उन्होंने जांच होते तक इस इलाके के आबकारी इंस्पेक्टर को हटाने के निर्देश दिए। अधिकारियों ने बैठक में बताया कि पिछले तीन महीनों में टोल फ्री नम्बर पर तीन हजार 167 शिकायतें दर्ज की गई। इनमें एक हजार 545 प्रकरण निर्धारित मूल्य से ज्यादा पर शराब बिक्री से संबंधित हैं। जांच किए जाने पर 105 प्रकरणों की पुष्टि की गई, जिस पर नियमानुसार कार्रवाई की गई।
अग्रवाल ने कहा कि शराब दुकान के 50 मीटर के दायरे में चखना दुकान नहीं होनी चाहिए। यदि इस सीमा के भीतर दुकान पाई गई तो संबंधित जिले के आबकारी अधिकारी को जिम्मेदार मानते हुए उनके विरूद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। कांकेर जिले के बांदे और पंखाजूर में शराब दुकान के समीप चखना दुकान संचालित होने की शिकायत सहीं पाए जाने पर आबकारी अधिकारी को अपने काम-काज में सुधार लाने की सख्त हिदायत दी। आबकारी मंत्री ने कहा कि दूसरे राज्यों की शराब अपने राज्य में नहीं आने चाहिए, इसके लिए सीमा पर निगरानी रखी जाए। राजनांदगांव, रायपुर और बिलासपुर मंे बाहरी राज्य के शराब के विरूद्ध 19 प्रकरण बनाए जाने की जानकारी अधिकारियों ने दी। मंत्री श्री अग्रवाल ने कहा कि ऐसे मामलों में यदि वाहन पकड़ाई जाती है, तो नियमानुसार राजसात की कार्रवाई तत्काल की जाए। अधिकारियो ने बैठक में बताया कि दुकानों से शराब की बिक्री पर बिल दिया जा रहा है। फिर भी रायपुर और दुर्ग में बिना बिल की 21 शिकायत मिली है, जिस पर मंत्री ने नाराजगी जाहिर करते हुए इसकी जांच करने के निर्देश दिए।
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